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कोविड-19: 56 हज़ार भारतीय प्रवासी-कामगारों ने छोड़ी नौकरी, SALARY ले रहे और Flight पकड़ रहे

कोरोना कहर के बीच खाड़ी देशों में फंसे हए लोगों को वापस स्वदेश लाने के लिए भारत सरकार ने मिशन भारत शुरू किया है। वहीं इस बीच खाड़ी देशीं से लौटने वाले भारतीय प्रवासियों को लेकर एक बड़ी खबर सामने आई है।

दरअसल, इस समय वंदे भारत मिशन का पांचवा चरण शुरू हो गया है। इस पांचवे चरण में कई सारे भारतीय प्रवासी जो ओमान छोड़कर वापस अपने देश लौट रहे हैं जहां पर वह वर्षो से काम कर रहे थे।

जानकारी के अनुसार, ओमान में कई सालों से काम कर रहे हजारों की संख्या में भारतीय प्रवासी कामगार अपनी सैलरी लेकर वंदे भारत मिशन द्वार संचालित की जाने वाली फ्लाइट पकड़कर वापस भारत आ रहे हैं। ये लोग कोरोनावायरस की वजह से वापस स्वदेश लौट रहे हैं क्योंकि कोरोना वायरस की वजह से कई लोगों की नौकरी चली गयी है। इसके साथ ही कोरोना वायरस की वजह से कई कंपनियों ने भारतीय कामगारों को टर्मिनेशन लेटर दिया है जिसके बाद यहां पर काम करने गये भारतीय प्रवासी कामगार अब अपने देश लौट रहे हैं।

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वहीं इस टर्मिनेशन लेटर पाने वाले भारतीय कामगारों ने बताया कि इस महीने की सैलरी हमें मिल तो गई है लेकिन इसके साथ ही वर्षों से काम करने को लेकर हौसला अफजाई करता हुआ एक पत्र भी मिला और उसके साथ एक और पत्र दिया गया, जिसमें यह कहा गया था कि अब आपकी नौकरी खत्म की जा रही है क्योंकि कंपनी आपको सैलरी देने में सक्षम नहीं है।

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, कोरोना संकट की वजह से करीब 56,000 से अधिक ऐसे भारतीय प्रवासी ओमान को छोड़ चले गए हैं जो कई सालों से यहां नौकरी करते थे, लेकिन अब कोरोना का प्रभाव सीधा इनके रोजगार पर पड़ा है।

एक भारतीय कामगार जो भारत के केरल से ताल्लुक रखते हैं उन्होंने बताया की रिपेट्रिएशन फ्लाइट ना मिलने की वजह से उन्हें अपनी कार तक बेचकर ओमान में गुजर-बसर करना पड़ रहा है और वह यहां दो दशक से काम कर रहे थे।  उन्होंने बताया कि उन्होंने घर के जरूरी सामान फर्नीचर खरीद रखे थे क्योंकि दो दशकों से उन्होंने OMAN को अपना घर समझ रखा है।

इस पूरे मामले पर ओमान में भारतीय दूतावास के दूसरे सचिव अनुज स्वरूप ने गल्फ न्यूज को जानकारी दी है कि वंदे भारत मिशन के 9 मई की शुरूआत के बाद अब तक कुल 105 उड़ानों का संचालन किया गया है जिससे 18,000 से अधिक भारतीय नागरिक देश वापसी किए हैं। इसके अलावा 216 चार्टर उड़ानों के सहारे 38,000 से अधिक भारतीय नागरिक अपने देश के लिए रवाना हुए हैं।

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आपको बता दें, इनमे से कई लोग ऐसे भी है जिनमें कई भारतीय कामगारों की नौकरियां मई के महीने में ही चली गई थी और तब से वह अब तक फंसे हुए हैं और इस वजह से ये भी ये लोग वापस अपने देश लौट रहे हैं।

जानाकारी के लिए आपको बता दें, अब तक ओमान से भारत में बेरोजगार होकर लौटे हुए कामगारों की संख्या 56000 हो चुकी है और इन सबके ऊपर भविष्य की बड़ी चिंता है कि आखिर किस तरह से नौकरी और आर्थिक संकट से उबरा जा सके।